नर-नारी विद्वेषण यंत्र

1 year ago
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यह यंत्र केवल उन्ही दो जोड़ों पर काम करता है जो एक घर में साथ रहते हों और उनके साथ कोई और परिवारजन न रहता हो. यहाँ तक कि अगर उनका कोई परिजन कुछ दिनों के लिए उनसे मिलने आया हो तो उन दिनों भी इस यंत्र का प्रयोग निष्फल रहेगा. अब देखिये पूरी विधि-
इस यंत्र को भोजपत्र पर गोरोचन और कुमकुम से मौन धारण करके लिख लें. फिर नदी के किनारे की मिटटी लाएं और उससे गणेश जी की मूर्ती बना कर उस पर यंत्र को डाल दें. फिर उस मूर्ती को गाय के दूध से स्नान करवाएं और अनेक तरह के फल, पुष्प, धूप, दीप और मोदकों से पूजन और स्तुति करें. उसके बाद से सराव संपुट (मिटटी का पात्र या सरावा) के ऊपर 'अघोर-अघोर' दो बार लिखकर भूमि में दबा दें तो उस नर और नारी(यानी स्त्री पुरुष) में आपस में ही झगड़े शुरू हो जाते हैं.

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